Weight of earth|पृथ्वी का वजन कितना है|चंद्रमा पर जाने पर वजन कम क्यों होता है?
आज की इस पोस्ट में हम पढ़ने वाले है पृथ्वी का वजन(prithvi ka vajan) लगभग कितना है ? पृथ्वी से चंद्रमा पर जाने पर आखिर वजन कम क्यों होता है? इन प्रश्नों के उत्तर समझने से पहले हमें द्रव्यमान और वजन(भार) किसे कहते हैं इसके बारे समझना होगा|![]() |
Weight of earth |
द्रव्यमान क्या है?(dravyaman Kise Kahate Hain)
द्रव्यमान किसी भी वस्तु में निहित पदार्थ की मात्रा को कहा जाता है| उदाहरण के लिए यदि आपके पास 50 किलोग्राम का कोई चावल का बैग है तो उस बैग का द्रव्यमान 50 किलोग्राम होगा| द्रव्यमान का मात्रक किलोग्राम होता है|द्रव्यमान हर परिस्थिति में हर जगह हमेशा सामान रहता है कभी भी बदलता नहीं है चाहे आप उसे चंद्रमा पर ले जाए या फिर अंतरिक्ष में|
यदि बैग में 50 किलोग्राम चावल है तो चंद्रमा पर भी वह 50 किलोग्राम रहेंगे तथा अंतरिक्ष में भी 50 किलोग्राम ही रहेंगे|
वजन (भार )क्या है? Weight kya hai
पृथ्वी हर वस्तु को एक आकर्षण बल( गुरुत्व बल) के माध्यम से अपनी ओर आकर्षित करती है इस गुरुत्वाकर्षण बल को ही उस वस्तु का वजन या भार कहा जाता है |भार का मात्रक न्यूटन(N) है|किसी भी वस्तु का भार हम निम्न सूत्र द्वारा ज्ञात कर सकते हैं-
F=mg या W=mg जहां m= वस्तु का द्रव्यमान और g= गुरुत्वीय त्वरण है|
किसी भी वस्तु का भार हर जगह समान नहीं रहता है इसका मान गुरुत्वीय त्वरण(g) पर निर्भर करता है |
पृथ्वी पर गुरुत्वीय त्वरण का मान 9.8 m/sec^2 माना जाता है| चंद्रमा पर g का मान पृथ्वी पर g के मान का 1/ 6 गुना होता है | यही कारण है कि चंद्रमा पर वजन पृथ्वी की तुलना में बहुत ही कम हो जाता है |सूर्य पर g का मान पृथ्वी पर g के मान का लगभग 27 गुना होता है|
चंद्रमा पर वजन कम क्यों हो जाता है?(chandrama per vajan)
जैसा कि ऊपर पहले ही पढ़ चुके हैं कि पृथ्वी जिस आकर्षण बल से किसी वस्तु को अपनी ओर आकर्षित करती है उस बल को ही उस वस्तु का वजन या भार कहा जाता है|चंद्रमा पर किसी भी वस्तु का भार पृथ्वी का 1/ 6 गुना होता है| इसको एक उदाहरण के द्वारा समझने की कोशिश करते हैं- मान लो आपके पास 50 किलोग्राम का एक चावल का बैग है, तो इस बैग का द्रव्यमान 50 किलोग्राम होगा तथा पृथ्वी पर गुरुत्वीय त्वरण का मान 9.8 m/sec^2है जिसको लगभग 10 मान सकते हैं |
अतः इस बैग का पृथ्वी पर वजन w=mg , w= 50×10=500 न्यूटन होगा|
अब इसी बैग को यदि आप चंद्रमा पर ले जाते हो तो चंद्रमा पर इस बैग का वजन पृथ्वी की तुलना में 6 गुना काम होगा यानी कि चंद्रमा पर इसका वजन w=500/6 = 83.3 न्यूटन होगा |
यदि इसी बैग को अंतरिक्ष में ले जाया जाए तो उसका द्रव्यमान तो 500 किलोग्राम ही रहेगा किंतु इसका वजन 0 हो जाएगा क्योंकि अंतरिक्ष में गुरुत्वाकर्षण बल नहीं लगता है|
आपने वीडियो में देखा होगा कि इंटरनेशनल स्पेेस स्टेशन में अंतरिक्ष यात्री जो है वह हवा में तैरते हैं क्योंकि जीरो ग्रेविटी के कारण उनका भार शून्य हो जाता है|
पृथ्वी का वजन कितना है|weight of earth
यहां हम पृथ्वी का द्व्रव्यमान निकालने वाले हैं| इसके लिए आपको न्यूटन के सार्वत्रिक गुरुत्वाकर्षण का नियम पता होना चाहिए|न्यूटन के अनुसार –“ ब्रह्मांड का प्रत्येक कण एक दूसरे कण को अपनी ओर आकर्षित करता है तथा किन्हीं भी दो कणो के बीच लगने वाले आकर्षण बल, उनके द्रव्यमानो के गुणनफल के अनुक्रमानुपाती तथा उनके बीच की दूरी के वर्ग के व्युत्क्रमानुपाती होता है|”
सूत्र रूप में - F= GMm/R² ..... (1)
यहां G= सार्वत्रिक गुरुत्वाकर्षण नियतांक
M= पृथ्वी का द्रव्यमान , m= पृथ्वी पर रखे पिंड का द्रव्यमान , R= पृथ्वी की त्रिज्या
न्यूटन का द्वितीय नियम से , F= mg..... (2)
यहां g = गुरुत्वीय त्वरण
ऊपर लिखे दोनों समीकरणों में LHS बराबर है अतः RHS भी बराबर होंगी| RHS को बराबर कर small m को cancel करके arrange करने पर
M= gR²/G
इस सूत्र में गुरुत्वीय त्वरण g, पृथ्वी की त्रिज्या R तथा सार्वत्रिक गुरुत्वाकर्षण नियतांक G के मान रखकर हम पृथ्वी का द्रव्यमान ज्ञात कर सकते हैं | इसका solution आप image में देख सकते हो
![]() |
पृथ्वी का द्रव्यमान |
अतः पृथ्वी का द्रव्यमान(वजन) = 5.9 × 10²⁴ kg
Oh my god
जवाब देंहटाएंGood
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